How Overcome Laziness In Hindi | 99% लोग नहीं जानते ये तरीके|

How Overcome Laziness In Hindi | Aalas Kaise Dur Kare |

दोस्तों इमेजिन करिए आपके अंदर एक बैटरी इंस्टॉल्ड है जिसमें आपकी एनर्जी स्टोर्ड है। अब आइडली हर सुबह आपकी बैटरी फुली हंड्रेड परसेंट चार्ज होनी चाहिए ताकि, आप अपने पूरे दिन के काम को अच्छे से कर पाओ उसके बाद भी रात तक आते-आते 10-15 पर्सेंट बैटरी बच जाए और उसके बाद अब सुकून से सोकर इससे रिचार्ज कर पाओ। पर आज के टाइम पर हम सबके साथ यही प्रॉब्लम है कि ऐसा होता नहीं है सुबह उठते ही पूरी तरह से नींद ना लेने की वजह से हमारे एनर्जी लेवल्स पहले ही 50% डाउन होते हैं। 

how overcome laziness

फिर आप अपना फोन use करते हो ब्रश करते हो रेडी होते हो, ब्रेकफास्ट करते हो इन सभी काम को करने में आपकी ऑलमोस्ट 10% बैटरी और कम हो जाती है। अब बाकी के 40% में आपको पूरा दिन गुजारना है जहां हो सकता है क्या आपको ट्रैवल करना पड़े स्कूल या कॉलेज जाना पड़े या अपने ऑफिस जाकर 8 घंटे के शिफ्ट में जॉब करनी पड़े जहां लंच टाइम तक आते-आते आपके बैटरी लेवल्स 20% हो जाते हैं। 

हमारा मन हमें अलर्ट करने लगता है कि हमें चार्ज की जरूरत है और अपने सिस्टम को लो पावर मोड में डाल देता है।  जहां आप जगे हुए तो होते हो पर आपके सारे फंक्शन सही से काम नहीं कर रहे होते ।आपको बहुत ज्यादा नींद आने लगती है या आलस आने लगता है आपको इतनी ज्यादा थकान फील होती है कि छोटे से छोटा काम भी भारी लगने लगता है, आपका कुछ करने का मन नहीं करता और यह सिर्फ एक दिन की कहानी नहीं है यह आपके साथ हर दिन होता है। बार-बार होता है, अगर आप अपने tiredness को जल्द से खत्म करना चाहते हो तो आपको अपनी बॉडी के anti tiredness neurotransmitter न्यूरोट्रांसमीटर को एक्टिवेट करना होगा। 

आपने अब तक कई सारेहार्मोंस और न्यूरो ट्रांसपोर्टर के बारे में सुना होगा। Dopamine, Serotonin, Melatonin इसी तरह एक है Orexin-A. और ओरेक्सीन a को  अलर्टनेस न्यूरोट्रांसमीटर भी कहा जाता है। अगर आपको कोई चीज ज्यादा अलर्ट कर रही है, एनर्जिज कर रही है इसका मतलब आपकी बॉडी में Orexin-A इंक्रीज हो रहा है अपने एनर्जी लेवल से अपनी बॉडी के बैटरी को एफिशिएंट बनाने के लिए आपको बस अपने  Orexin-A को अच्छे से ऑप्टिमाइज करना सीखना है। जिसमें सबसे पहले आपको अपनी डाइट को फिक्स करना होगा। 

                                 How Overcome Laziness In Hindi

1 Poor Diet 

एक स्टडी के अकॉर्डिंग Orexin-A लो ग्लूकोज की वजह से रिलीज होने लगता है और जब हमारी बॉडी में ग्लूकोज बढ़ जाता है यह Orexin-A को रिलीज होने से रोक देता है। कार्बोहाइड्रेट से जैसे व्हाइट राइस, व्हाइट ब्रीड्स, पोटैटो फास्ट फूड और शुगर ड्रिंक यह सभी ग्लूकोज का मुख्य सोर्स है। आप नोटिस करना जब भी आप कोई high carb foods बहुत ज्यादा खा लेते हो तो आपके एनर्जी लेवल्स एकदम से कम हो जाते हैं क्योंकि carbs आपकी बॉडी में Orexin-A को रोक देती है पर इसका मतलब यह नहीं क्या दिन भर का आप नहीं खाओगे तो एकदम एनर्जिज रहोगे। 

पर अगर आप सिर्फ कार्ब्स खाओगे तो आप जरूर थका हुआ फील करोगे।  इसीलिए अपने डाइट में एक चीज को ऐड करो जो कैफ कार्ब्स के अपोजिट के तरह एक्ट करता है जो की है प्रोटीन, एक स्टडी के अकॉर्डिंग Orexin-A प्रोटीन में मौजूद अमीनो एसिड से ट्रिकर होता है और उसे रिलीज होने में हेल्प करता है। साथ ही प्रोटीन में मौजूद अमीनो एसिड का आपको और एक्शन एक सरप्राइज करने से भी रोकते हैं। इसका मतलब अगर आप एक हाई प्रोटीन डाइट फॉलो करते हो जहां आप कार्ब्स भी खा रहे हो, पर कार्ब्स से ज्यादा प्रोटीन वाली चीज आप खा रहे हो तो यह आपके एनर्जी लेवल्स को बढ़ाएगा।

पर यहां भी एक कैच है चलो मान लिया आप दुनिया की बेस्ट डाइट फॉलो कर रहे हो हाई प्रोटीन क्लीन फूड कंज्यूम कर रहे हो मगर उससे भी अगर आप ज्यादा खाने लगोगे तो यह आपके टायरनेस को और बढ़ा सकता है। 

2. Overeating

ओवर ईटिंग, न्यूट्रिशन से यानी खाने से हमारी बॉडी को एनर्जी मिलती है यह बात एकदम सच है। पर अगर आप खाना खाने के बाद भी बहुत लेजी फुल कर रहे हो इसका मतलब आपने ओवर ईटिंग करी है, हम शायद इस बात को रिलाइज नहीं करते पर खाना खाने से लेकर डाइजेस्ट करने में हमारी बॉडी को बहुत सारे फंक्शंस परफॉर्म करने पड़ते हैं इसमें बहुत ज्यादा एनर्जी जाती है। इसलिए कई बार खाना खाते आपको बहुत तेज नींद आने लगती है आप टायर्ड फील करते हो क्योंकि आपकी बॉडी की आधी एनर्जी तो उसे खाने को डाइजेस्ट करने में लग जाती है। 

सुब्रोस गिल और सच्ची दयानंदपांडे की एक रिसर्च के अकॉर्डिंग एक एवरेज पर्सन दिन के 15 घंटे कुछ ना कुछ खाता रहता है यानी सुबह उठने से लेकर रात को सोने तक हम कुछ ना कुछ खाते रहते हैं जो एनर्जी लेवल्स को कम कर देता है इसका सबसे बेस्ट सॉल्यूशन है भूल जाओ के ब्रेकफास्ट लंच और डिनर जैसा कुछ होता है दिन में तीन बार पेट भरने के बजाय 5 -6 छोटे-छोटे मील्स खाओ। 

3.Intermittent Fasting

 इंटरमिटेंट फास्टिंग फॉलो करो,  यह कोई मॉडर्न चीज नहीं है बल्कि हम इंडियन कई सालों से इंटरमिटेंट फास्टिंग प्रैक्टिस करते आ रहे हैं ।आप आज भी rural इंडिया में जाओगे तो वहां के लोग शाम 7:00 तक अपना डिनर कर लेते हैं और अगले दिन सुबह के 10:00 बजे जाकर ब्रेकफास्ट करते हैं। जो उनकी बॉडी को 15 घंटे की fasted state में रखता है जब आप इस तरह से इंटरनेट फास्टिंग प्रैक्टिस करते हो आप नेचर के रूल्स के अकॉर्डिंग चलाते हो जो आपको फायदा ही देता है यही रीजन है कि गाँव के लोग शहर के लोगो से ज्यादा healthy और फिट रहते हैं।  

4. Inactivity

इन एक्टिविटी दोस्तों आपका दिन के 24 घंटे में से ज्यादातर टाइम आपकी बॉडी किस पोजीशन में होती है। एक एवरेज पर्सन दिन के 6:30 घंटे सिर्फ बैठे बैठे गुजार देता है। अब क्या हमारी बॉडी बैठे रहने के लिए बनी है नहीं और जो काम आपकी बॉडी के लिए नेचुरल नहीं है अगर आप उसे बार-बार करोगे तो इसका असर आपको अपनी ओवरऑल हेल्थ पर नजर आएगी। आपकी बॉडी बनी है मूव करने के लिए जैसे खाना पीना सोना हमारी बॉडी के लिए जरूरी है उतना ही एक्सरसाइज करना ह्यूमन बॉडी में कोई मूवमेंट करना भी उतना ही इंपॉर्टेंट है। 

पर ज्यादातर लोगों को लगता है मैं तो पहले थका हुआ फील कर रहा हूं इस हालत में मैं एक्सरसाइज करूंगा तो और थका ठरका हुआ फील करूंगा। यह एक मिथ बल्कि अगर आप टायर्ड फील करते हुए एक्सरसाइज करोगे तो आपके एनर्जी और ज्यादा बढ़ जाएगी। आप खुद सोच कर देखो अगर आपको एक डब्बे में बंद कर दिया जाए और बहुत देर बाद आपको वहां से निकल जाए तो क्या आप ज्यादा एनर्जिज फील करोगे और थकान फील करोगे यही रीजन है सुबह-सुबह उठते ही हमें इतना आलस आता है,

क्योंकि पूरी रात हमारी बॉडी में कोई मूवमेंट नहीं होती पर आप ब्रश करने के लिए टॉयलेट तक भी चले जाते हो आपकी बॉडी थोड़ी बहुत जाग जाती है। इन फैक्ट एक स्टडी के अकॉर्डिंग सिर्फ 20 मिनट के एक्सरसाइज से इतना और एक्शन ने रिलीज हो जाता है जितना की एक कप आफ कॉफी से होता है। जब आप अपनी बॉडी को एक्टिव रखते हो आपका हार्ड ज्यादा ब्लड पंप करता है जो आपके vital ऑर्गन्स में और ज्यादा ऑक्सीजन और न्यूट्रिएंट्स प्रोवाइड करता है जो सेल्स में और ज्यादा माइट्रोकांड्रिया प्रोड्यूस करता है जो हमें और एनर्जी देता है। 

5 Poor Sleep Quality

 दोस्तों आपके साथ क्या ऐसा होता है आप रात को 8-9 घंटे की नींद लेने के बाद जब सुबह सोकर उठते हो, फिर भी आपको ऐसा लगता है कि जैसे आप सही से सोए नहीं आपकी बैटरी यानी एनर्जी लेवल्स हंड्रेड परसेंट होने चाहिए थे पर आप खुद को बेड तक से नहीं उठा पाए इतना ज्यादा थका हुआ फील करते हो। sleep का परपज क्या होता है ताकि हम प्रॉपर रेस्ट लेकर वापस से एनर्जिज्ड हो पाए पर यहां तो उल्टा हो रहा है इसका मतलब आपकी स्लिप क्वालिटी में कुछ प्रॉब्लम है आपने यह लाइन बहुत बार सुनी होगी। 

                        “It doesn’t matter when you sleep as long as you sleep enough.”

आप कब सो रहे हो इससे फर्क नहीं पड़ता बस आपको अपनी स्लिप को कंप्लीट करना चाहिए। पर यह बात बिल्कुल भी सही नहीं है आप कितना सो रहे हैं उतना ही इंपॉर्टेंट है कि आप कब सो रहे हैं। मॉडर्न स्टडीस और आयुर्वेद दोनों में ही 10 से 12 बजे के टाइम को स्लिप के प्रेशरhours कंसीडर कर जाता है। इसीलिए आपको रोज सेम टाइम पर सोना चाहिए और सेम टाइम उठना चाहिए। 

ताकि आपकी बॉडी और मन को प्रॉपर टाइम पर रेस्ट मिले ऐसा नहीं कि जब आपकी बॉडी बिल्कुल टूट चुकी हो आपकी बैटरी dead हो चुकी हो और नींद की भीख मांग रही हो आप तब जाकर सोएं, नहीं उससे पहले आपको स्लिप का एक प्रॉपर शेड्यूल फॉलो करना चाहिए और सबसे बड़ी चीज जो हमारी स्लिप क्वालिटी को low को करती है वह है काफी आपको दिन के 12:00 के बाद कोई भी डेफिनिटेड प्रोडक्ट कंज्यूम नहीं करना एफिनेटेड प्रोडक्ट कंज्यूम नहीं करना चाय कॉफी या कोल्ड ड्रिंक कुछ भी जिसमें कैफीन हो उसे 12:00 के बाद नहीं पीना चाहिए। 

अब ऐसा क्यों है क्योंकि कैफीन हमारी बॉडी को जगाने के लिए ट्रिक करता है यह हमारी बॉडी के मेलाटोनिन के प्रोडक्शन को रोक देता है जिससे हमें नींद नहीं आती और प्रॉब्लम यह है कि कैफीन हमारी बॉडी में 6 से 8 घंटे तक रहती है इसीलिए अगर आप इसे सुबह पी रहे हो तो यह शाम तक आपकी बॉडी से निकल जाएगी बट अगर आप शाम को कॉफी पीने के बाद सोने का ट्राई करोगे तो यह पॉसिबल नहीं है इसीलिए दिन में 12 या 1:00 के बाद कैफीन कंज्यूम नहीं करोगे तो आपको रात को अच्छे से नींद आने में आसानी होगी और जब आप अच्छे से सोकर अगले दिन उठकर आपकी बैटरी फली 100% रिचार्ज होगी। 

6.Stress and Anxiety

अगर आप कहते हो कि हम यह सब चीज़ फॉलो कर रहे हैं हमारी डाइट भी अच्छी है, स्लीप भी प्रॉपर है, हम एक्सरसाइज भी करते हैं फिर भी हम थका हुआ और लेजी फील करते हैं। तो फिर या तो आपको कोई मेडिकल कंडीशन है और आपको डॉक्टर को टेस्ट करना चाहिए। क्योंकि लो ब्लड काउंट भी एक फैक्टर हो सकता है या फिर आप बहुत ज्यादा स्ट्रेस लेते हो जब भी आप बहुत ज्यादा ओवर थिंकिंग करते हो सोच सोच कर खुद को मेंटल प्रेशर देते हो एंजियस और डिप्रेस्ड फील करते हो। यह सारे इमोशंस आपके अंदर से सारी एनर्जी को खींच लेते हैं और आपको खोखला बना देते हैं

तभी आपको रात में नींद नहीं आती, खाना खाया नहीं जाता, एक्सरसाइज करने का मन नहीं करता तो कहां से आएगी एनर्जी कभी-कभी हमारे लो एनर्जी का रीजन हमारी बॉडी नहीं हमारा मन भी होता है। इसलिए अपने आप को जितना हो सके उतना स्ट्रेस से दूर रखो, मेडिटेशन करो, जनरल इन करो ,उन लोगों के साथ टाइम स्पेंड करो जिनके साथ आपको अच्छा फील होता है, उन एक्टिविटीज को करो जैसे करने के बाद आपको एनर्जिज्ड फील होता है और बस आपकी tiredness  और लजीनेस अपने आप खत्म हो जाएगी। 

                                                            ————*******———– 

दोस्तों! यह लेख ( How Overcome Laziness ) आपको कैसा लगा? यदि यह हिंदी लेख आपको अच्छा लगा तो आप इस लेख को शेयर कर सकते हैं। इसके अतरिक्त आप हमें comment लिखकर जरुर बताएं ताकि हमें भी आपके विचारो से कुछ सीखने और सुधारने का मोका मिले।

Also Read: 

Leave a Comment

error: Content is protected !!